मंदिर में पूजा करते श्रद्धालु |
डेस्क, समाचार दर्पण लाइव
नवरात्र के आखिरी दिन और रामनवमी पर जगह - जगह के मंदिरों में भक्तों को भीड़ रही। सुबह होते ही मंदिरों में घंटियों और शंख की गूंज सुनाई देने लगी। कतारबद्ध होकर श्रद्धालुओं ने मंदिरों में पूजा अर्चना की। पूरे विधि-विधान के साथ पूजा के बाद प्रसाद वितरण किया गया। इसके साथ ही लोगों ने घरों में हलवा, पूड़ी - पकवान भी बनाए। इसमें कन्याओं को भोग लगाया गया।
श्री राम नवमी पर मंदिर में पूजा करने जाती बालिकाएं। |
हरदुआगंज के मंदिरों में भी भक्तों की काफी भीड़ देखी गई।
प्रसाद देते मंदिर के कार्य करता। |
मंदिरों के पुजारियों ने बताया कि नवमी के दिन सिद्धिदायिनी मां यानी सिद्धियों को देने वाली सिद्धिदात्री का पूजन किया जाता है। ऐसा कहा जाता है कि इनकी आराधना से भक्तों को समस्त सिद्धियां व नवनिधियों की प्राप्ति होती हैं। वसंत नवरात्र की इस नवमी का महत्व इसलिए और भी बढ़ जाता है, क्योंकि इसी दिन मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम का जन्म हुआ था। इसीलिए इसे राम नवमी कहा जाता है और इस दिन को भगवान राम के जन्मोत्सव के रूप में भी मनाया जाता है। हरदुआगंज के मंदिर पर सफाई और साज-सज्जा के साथ हलवा- चने के प्रसाद का वितरण किया जा रहा था।