बुलंदशहर। आखिरकार किसकी शह पर नगर में संचालित हो रहे डग्गामार वाहन

 

रिपो० रीशू कुमार

नगर में लगातार बढ़ रही डग्गामार वाहनों की संख्या, आखिरकार किसकी शह पर नगर में संचालित हो रहे डग्गामार वाहन

शिकारपुर : नगर में लगातार बढ़ रही डग्गामार वाहनों की संख्या तो वही शिकारपुर नगर की जहांगीराबाद चूंगी पर डग्गामार वाहनों की संख्या में बढ़ोतरी होती नजर आ रही है उप संभागीय परिवहन विभाग द्वारा डग्गामार वाहनों पर नहीं की जा रही कोई कार्यवाही।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नगर की जहांगीराबाद चूंगी पर सुबह सूरज निकलने से पहले ही लग जाती है डग्गामार वाहनों की एक लम्बी कतार जिस पर उप संभागीय परिवहन विभाग एवं अन्य आला अधिकारियों द्वारा नहीं दिया जा रहा कोई ध्यान जबकि कहीं ना कहीं आए दिन डग्गामार वाहनों से होते रहते है सड़क हादसे लेकिन उसके उपरान्त भी उप संभागीय परिवहन विभाग एवं प्रशासनिक अधिकारी नींद से जागने को नहीं है तैयार। 

मिली जानकारी के अनुसार प्रत्येक माह प्राइवेट एजेंट द्वारा की जाती है डग्गामार वाहनों से वसूली जिसको देख कर कहीं ना कहीं ऐसा प्रतीत होता है कि उप संभागीय परिवहन विभाग एवं जिला प्रशासन ने अधिकारियों द्वारा मिलीभगत से डग्गामार वाहनों को दी जा रही है सह ऐसा ही एक मामला शिकारपुर नगर से उस वक्त संज्ञान में आया जब एक प्राइवेट एंबुलेंस नंबर एचआर 55 एके 9946 द्वारा शिकारपुर नगर की जहांगीराबाद चूंगी से बैठाई जा रही सवारियां जबकि कहीं ना कहीं मरीजों को लाने और ले जाने का किया जाता है।

कार्य आखिरकार एंबुलेंस को सवारी ले जाने का कैसे मिला अधिकार हालांकि यह अभी तक सोचने का विषय बना हुआ है जबकि अगर बात की जाए एंबुलेंस चालकों की तो कहीं ना कहीं बीते कुछ दिनों पूर्व तक एंबुलेंस चालकों को भी कोरोना योद्धा की श्रेणी में किया गया था सम्मिलित और वही अगर बात की जाए एंबुलेंस की तो कहीं ना कहीं एंबुलेंस को देख कर आमजन द्वारा स्वयं दे दिया जाता है सर्वप्रथम एंबुलेंस को रास्ता लेकिन अगर वास्तव में इसी प्रकार एंबुलेंस चालकों द्वारा सवारी ढोने का किया जाता रहा कार्य चंद दिनों में लोगों द्वारा एंबुलेंस को प्राथमिकता देना बन्द हो सकता है ।

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